Mayurakshi Pariyojana – म्युराक्षी परियोना | Mayurakshi Pariyojana – म्युक्षी परियोजना | Mayurashi Pariyojana – म्युराक्षी परियोजना | Mayurakshi Pariyona – म्युराक्षी परियोजना | Mayurakshi Pariyoja – म्युराक्षी परियोजना | Mayurshi Pariyojana – म्युराक्षी परियोजना | Maakshi Pariyojana – म्युराक्षी परियोजना |
नदियों की घाटियो पर बडे-बडे बाँध बनाकर ऊर्जा, सिंचाई, पर्यटन स्थलों की सुविधाएं प्राप्त की जातीं हैं। इसीलिए इन्हें बहूद्देशीय नदी घाटी परियोजना कहते हैं। नदी घाटी योजना का प्राथमिक उद्देश्य होता है किसी नदीघाटी के अंतर्गत जल और थल का मानवहितार्थ पूर्ण उपयोग। भारत के पहले प्रधानमंत्री पंडित जवाहर लाल नेहरू ने बहु-उद्देशीय नदी घाटी परियोजनाओं को ‘आधुनिक भारत का मंदिर’ कहा था
Mayurakshi Pariyojana – म्युराक्षी परियोजना
No.-1. परियोजना पश्चिम बंगाल के मुर्शिदाबाद और वीरभूमि ज़िले की भयानक बाढ़ से निपटने के लिए स्थापित की गयी परियोजना है।
No.-2. छोटा नागपुर पठार से निकलने वाली नदियाँ पश्चिम बंगाल में प्रवेश कर जाती हैं।
No.-3. इसमें मयूराक्षी प्रमुख नदी है।
No.-4. वर्षा के जल से इस नदी का जलस्तर भयानक रूप से बढ़ जाता है।
No.-5. इसीलिए इस नदी पर झारखंड के दुमका के निकट मसनजोर बाँध बनाया गया है।
No.-6. मसनजोर बाँध को ‘कनाडा बाँध’ भी कहते हैं, क्योंकि इस बाँध को बनाने के लिए कनाडा ने वित्तीय सहायता उपलब्ध कराई थी।
No.-7. मसनजोर बाँध के नीचे की ओर तिलपाड़ा बैराज़ बनाया गया है।
No.-8. यहाँ पर 40X40 मेगावाट की दो विद्युत इकाइयाँ लगाई गयी हैं।
Mayurakshi Pariyojana
महत्वपर्ण तथ्य
No.-1. डीवीसी भारत सरकार द्वारा शुरू की जानेवाली प्रथम बहूद्देशीय नदी घाटी परियोजना।
No.-2. कोयला, जल तथा तरल ईंधन तीनों स्त्रोतों से विद्युत उत्पादन करनेवाला भारत सरकार का प्रथम संगठन।
No.-3. मैथन में भारत का प्रथम भूमिगत पनविद्युत केन्द्र।
No.-4. विगत शताब्दी के पचावें दशक में बोकारो ंकएंक ताविके राष्ट्र का बृहत् तापीय विद्युत सयंत्र।
No.-5. बीटीपीएस ंकएंक बॉयलर ईंधन फर्नेंस में अनटैप्ड निम्न स्तर कोयला जलाने में प्रथम।
No.-6. चंद्रपुरा ताविके में उच्च ताप प्राचलों का प्रयोग करते हुए भारत की प्रथम री-हिट इकाइयाँ।
No.-7. मेजिया इकाई जीरो कोल रिजेक्ट हेतु सेवा में ट्यूब मिलों सहित पूर्वी भारत में अपने प्रकार की प्रथम।